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Apple के शेयरों में उछाल: iPhone 17 की शानदार होलीडे सेल्स फोरकास्ट ने सप्लाई की चिंताओं को किया शांत

Apple के शेयरों में उछाल: iPhone 17 की शानदार होलीडे सेल्स फोरकास्ट ने सप्लाई की चिंताओं को किया शांत

वो कहते हैं ना — “बाज़ार सिर्फ पैसों से नहीं, भरोसे से चलता है।” यही भरोसा Apple ने एक बार फिर जगाया है। शुक्रवार को वॉल स्ट्रीट पर Apple Inc. के शेयरों में लगभग 2% की छलांग लगी। वजह? कंपनी ने अपने नए iPhone 17 मॉडल की होलीडे सीज़न सेल्स के लिए ऐसा पूर्वानुमान पेश किया जिसने निवेशकों के चेहरे पर फिर से मुस्कान ला दी।

📈 iPhone 17 बना उम्मीदों का सितारा

Apple का कहना है कि इस साल के अंतिम तीन महीनों — यानी अक्टूबर से दिसंबर — के बीच iPhone 17 सीरीज़ की बिक्री में उल्लेखनीय उछाल देखने को मिलेगा। कंपनी का अनुमान है कि उसकी कुल आय में 10% से 12% तक की वृद्धि संभव है, जो मार्केट एनालिस्ट्स की अपेक्षाओं से कहीं अधिक है।

iPhone 17 के नए फीचर्स — जैसे अपग्रेडेड कैमरा सिस्टम, A19 चिपसेट, और बेहतर बैटरी ऑप्टिमाइजेशन — ने ग्राहकों के बीच “नया जोश” पैदा किया है। खासकर अमेरिका, जापान और भारत जैसे बाजारों में प्री-बुकिंग रेकॉर्ड स्तर पर पहुँची है।

🌍 सप्लाई चेन की चुनौतियाँ और Apple की रणनीति

अब यहाँ कहानी का ट्विस्ट आता है — जहाँ कई टेक कंपनियाँ अब भी चीन की सप्लाई चेन समस्याओं से जूझ रही हैं, वहीं Apple ने इस मुश्किल को अवसर में बदल दिया।

कंपनी ने पिछले साल की तुलना में अपने उत्पादन बेस को और विविधीकृत किया है — भारत, वियतनाम और ताइवान जैसे देशों में iPhone मैन्युफैक्चरिंग अब तेज़ी से बढ़ाई जा रही है। इससे चीन पर निर्भरता घट रही है और उत्पादों की सप्लाई अपेक्षाकृत स्थिर बनी हुई है।

Apple के सीईओ टिम कुक ने निवेशक कॉल में कहा:

“हमारी प्राथमिकता यह सुनिश्चित करना है कि हर ग्राहक को वही क्वालिटी और भरोसा मिले जिसके लिए Apple जाना जाता है। चुनौतियाँ हैं, पर हम पहले से ज़्यादा तैयार हैं।”

उनका यह बयान सीधा संकेत देता है कि कंपनी सिर्फ बिक्री पर नहीं, बल्कि सस्टेनेबल सप्लाई स्ट्रक्चर पर भी ध्यान दे रही है।

💰 निवेशकों का भरोसा लौटा

Apple के शेयरों ने शुक्रवार को $220 के आसपास ट्रेडिंग की, जिससे इसका मार्केट कैप फिर से 4 ट्रिलियन डॉलर के पार पहुँच गया — जो इसे दुनिया की सबसे मूल्यवान कंपनियों में शुमार रखता है।

निवेशक इस बात से भी खुश हैं कि Apple का सर्विस सेगमेंट (Apple Music, iCloud, App Store आदि) लगातार स्थिर वृद्धि दिखा रहा है। जबकि हार्डवेयर पर निर्भरता घट रही है, कंपनी का इकोसिस्टम और मज़बूत होता जा रहा है।

एनालिस्ट्स का कहना है कि Apple ने जिस तरह पिछले कुछ महीनों में धीमी बिक्री के दौर के बाद यह वापसी की है, वह “टेक मार्केट के लिए टोन सेट” कर सकती है।

Apple's iPhone sales during the holiday season slipped despite a highly  anticipated AI rollout - The Hindu

📊 बाज़ार के लिए क्या संकेत है?

यह उछाल सिर्फ Apple तक सीमित नहीं रहेगा। इसका असर पूरे टेक सेक्टर पर दिख सकता है — खासकर उन कंपनियों पर जो उपभोक्ता-इलेक्ट्रॉनिक्स और स्मार्टफोन मार्केट में हैं।

Apple की यह चाल “कंज्यूमर डिमांड रिवाइवल” का संकेत देती है। जब ग्राहक नई डिवाइसेज़ पर पैसा खर्च करने को तैयार हैं, तो यह बताता है कि टेक-इकोनॉमी धीरे-धीरे फिर से पटरी पर लौट रही है।

🧩 भविष्य का रोडमैप

टेक विशेषज्ञ मानते हैं कि आने वाले महीनों में Apple निम्नलिखित क्षेत्रों में ध्यान केंद्रित करेगा:

AI-इंटीग्रेशन: iPhone में ऑन-डिवाइस AI फीचर्स की झलक 2026 के शुरुआती उत्पादों में दिख सकती है।

भारत में मैन्युफैक्चरिंग हब: Apple का दीर्घकालिक लक्ष्य है कि आने वाले वर्षों में भारत उसके कुल iPhone उत्पादन का 25% हिस्सा बनाए।

सर्विसेस ग्रोथ: कंपनी iCloud+, Apple TV+ और Fitness+ जैसी सेवाओं से राजस्व बढ़ाने पर जोर दे रही है।

Apple Vision और Mixed Reality: नई तकनीकों के साथ Apple अपने इकोसिस्टम को भविष्य-रेडी बनाने में लगा है।

⚖️ निष्कर्ष

Apple की कहानी सिर्फ प्रॉफिट और सेल्स की नहीं, बल्कि रिलायबिलिटी और री-इनोवेशन की कहानी है। जब पूरी दुनिया सप्लाई चेन की जद्दोजहद में उलझी थी, Apple ने धीरे-धीरे अपनी बुनियाद को मज़बूत किया और अब उसी का फल मिल रहा है।

इस उछाल से यह साफ हो गया कि निवेशक अब भी Apple को “सेफ बेट” मानते हैं। हाँ, प्रतियोगिता कड़ी है, और नवाचार की रफ्तार भी तेज़ होनी चाहिए, मगर सच कहें तो —

“जब तक iPhone की गूंज है, Apple की कहानी अधूरी नहीं।”


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